अरुण जेटली वित्तमंत्री ने संसद में कहा कि "करीब एक करोड़ केंद्रीय कर्मचारियों और पेंशनरों की बढ़ी हुई सैलरी देने के लिए उन्हें और पैसा चाहिए।" अरुण ने कहा कि सातवें वित्त आयोग की अनुशंसाओ को लागू करने के बाद 2016-17 में पेंशन और वेतन के भुगतान के लिए सरकार को ज्यादा पैसे की जरूरत है।
सरकार के सामने चुनौती है जीडीपी के 3.5 प्रतिशत रखने की| वित्तमंत्रालय ने यह बात संसद में पेश की गई मिड टर्म एक्सपेंडिचर रिपोर्ट में कही है। रेटिंग एजेंसी मूडीज ने कहा है कि "वेतन में बढ़ोतरी की वजह से उपभोक्ता मांग बढ़ेगी और इससे महंगाई बढ़ने का दबाव होगा और यह भारतीय रिजर्व बैंक के अगले गवर्नर के लिए एक चुनौती होगी कि वह कैसे महंगाई को नियंत्रित रखने के काम को पूरा करते हैं।"
नरेंद्र मोदी सरकार ने हाल ही में मुद्रास्फीति दर को चार प्रतिशत के लक्ष्य स्वीकार किया है। संभावना है की दो प्रतिशत ऊपर-नीचे हो सकता है| रघुराम राजन आरबीआई गवर्नर के पद से रिटायर होने के साथ हुई वार्ता में अगले पांच सालों के लिए इसी लक्ष्य पर सहमति बनी है। वेतन और पेंशन के मद वर्तमान वित्तीय वर्ष में हुई बढ़ोतरी के चलते सरकार का खर्चा करीब 10 प्रतिशत बढ़ने का अनुमान है। यह करीब 2,58,000 करोड़ रुपये होगा।